Thursday, December 31, 2009

हैप्पी न्यू ईयर

नये साल में नई उमंग से...
मिलने हम हैं कदम बढ़ाए.
हंसी-खुशी से बाल पतंग से...
नहीं है ईर्ष्या लेस मात्र भी
सबको गले लगाते हैं.
मंगलमय है वर्ष तुम्हारा दैव से
सदा मनाते हैं.
मिले सारी खुशियां जग की छुलो
नभ की ऊंचाइयों को...
ईश्वर हमेशा दूर रखे
विपदा और तन्हाइयों को.
यहीं हैं कामना एक हमारी
हर पल सफलता मुले तुझे.
नहीं है चाहत और किसी का
आशीष बस दे देना मुझे.

1 comment:

  1. संतोष जी आपकी जितनी तारीफ की जाए वो कम है... आपके वजन में तो नहीं आपके शब्दों में बहुत बल है...

    ReplyDelete